सुंदरकांड: Sundar Kand Path & Chaupai Lyrics in Hindi PDF

आप यहाँ पे सुंदरकांड पाठ और चौपाई के लिरिक्स हिंदी में अर्थ सहित पढ़ सकते हो। मैंने यहाँ पर sundar kand pdf in hindi टेबल फॉर्मेट में दे रखी है जहा से आप संपूर्ण सुंदरकांड पढ़ सकते हो। आप इसे ऑनलाइन या ऑफलाइन भी पढ़ सकते हो। मैंने यहाँ पर कुछ शुरुआत के दोहा फोटो के रूप में दे रखे है। आप इसे चाहे तो पढ़ सकते हो। अगर आप को अर्थ के साथ संपूर्ण सुंदर कांड पढ़ना है तो नीचे टेबल फॉर्मेट में पीडीऍफ़ फाइल दे रखी है, वहां से आप पूरा सुंदरकाण्ड पढ़ सकते है।

सुंदरकांड वाल्मीकि रामायण का एक मुख्य हिस्सा है, जिसमे भगवान हनुमान की अदभुत वीरता, भक्ति और साहस की कथा का वर्णन किया गया है। यह रामायण के छठे कांड में आता है और इसमें हनुमान जी की लंका यात्रा और सीता माता की खोज का वर्णन किया गया है। सुंदरकांड की कथा यहाँ पर संक्षेप रूप में हम बताएँगे-

हनुमान जी का समुद्र लांघना

हनुमान जी को सीता माता की खोज करने के लिए दक्षिण दिशा में भेजा जाता है। हनुमानजी बड़े बहादुर और ताकतवर है, वह अपने विराट रूप को धारण करके विशाल समुद्र को पार करते हैं। इस दौरान उनका सामना सुरसा और सिंहिका जैसी राक्षसियों के साथ होता है, जिन्हें वे अपनी बुद्धिमत्ता और शक्ति से पराजित करते हैं।

लंका में प्रवेश

हनुमान जी लंका पहुंचते हैं और वहाँ का जांच करते हैं। वे अपनी छोटा रूप धारण कर लंका नगरी में प्रवेश करते हैं। लंका नगरी की शोभा और वहां की भव्यता का वर्णन करते हुए, वे रावण के महल में प्रवेश करते हैं।

सीता माता से मिलना

सीता माता को रावण ने बंधक बनाकर अशोक वाटिका में रखी गई होती हैं। हनुमान जी अशोक वाटिका में सीता माता को ढूँढ निकालते हैं। हनुमान जी अपना परिचय देकर भगवान राम की अंगूठी उन्हें देते हैं और भगवान राम का संदेश देते है, जिससे सीता माता को आश्वासन और सांत्वना मिलती है।

अशोक वाटिका में विनाश

हनुमान जी अशोक वाटिका को उजाड़ देते हैं, जिससे राक्षसों में खलबली मच जाती है। रावण के पुत्र अक्षय कुमार को मारने करने के बाद, वे मेघनाथ द्वारा पकड़े जाते हैं और रावण के दरबार में ले जाया जाता है।

रावण के दरबार में हनुमान जी को ले जाना

रावण के दरबार में हनुमान जी रावण को धर्म और नैतिकता का उपदेश देते हैं और सीता माता को मुक्त करने का आग्रह करते हैं। रावण उनके वचन को ध्यान भंग कर देता है और उनकी पूंछ में आग लगाने का आदेश देता है।

लंका दहन

जब हनुमानजी की पूछ में आग लगाई होती है, तब वह इधर उधर लंका में कूदने लगते है और पूंछ में लगी आग से लंका नगरी को जला देते हैं। इसके बाद वे समुद्र पार कर वापस भगवान राम के पास आ जाते हैं और सीता माता का संदेश उन्हें देते हैं।

राम के पास लौटना

हनुमान जी सुग्रीव, राम और लक्ष्मण के पास वापस आते हैं और उन्हें सीता माता की खोज की सम्पूर्ण कथा सुनाते हैं। इस समाचार से भगवान राम अत्यंत प्रसन्न होते हैं और लंका पर चढ़ाई की तैयारी शुरू होती है।

आप सुन्दरकाण्ड में हनुमानजी द्वारा की गई सीता माता की खोज, लंका दहन और राक्षसों से लड़ाई की सारी कथा आप यहाँ पर पढ़ सकते है।

सुंदरकांड, Sundar Kand Path

 

Sundar Kand Hindi PDF, सुंदरकांड पाठ

 

सुंदरकाण्ड, Sundar Kand Chaupai

 

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संपूर्ण सूंदर कांड, Sundar Kand Path Lyrics in Hindi PDF

 

PDF NameSundar Kand PDF
No. Of Pages57
PDF Size5.4 MB
LanguageHindi

यहाँ पर मैंने एक बटन दिया है, जहां से आप सुंदरकांड पाठ हिंदी में अर्थ सहित पीडीऍफ़ स्वरूप में पढ़ सकते है। आप चाहे तो इसे ऑफलाइन पढ़ने के लिए डाउनलोड भी कर सकते है।

Download Sundar Kand PDF

(१) हनुमानजी का भक्तिभाव और श्रद्धा भगवान राम के प्रति यह पाठ में वर्णन किया गया है। सुंदरकांड का पाठ पढ़ने से व्यक्ति में भक्ति और श्रद्धा में बढ़ोतरी देखने को मिलती है।

(२) अगर आप इस पाठ को प्रतिदिन पढ़ते हो, तो आपको सभी संकटों से मुक्ति मिल सकती है।

(३) यह पाठ पढ़ने से व्यक्ति अपने जीवन में शांति और समृद्धि पा सकता है।

(४) अगर आप कोई कार्य में बार बार असफल हो रहे हो, तो आप सुंदरकाण्ड का पाठ प्रतिदिन पढ़े। यह करने से आप को अपने कार्य में सफलता पूर्णरूप से मिलेंगी।

(५) यह पाठ करने से आपकी नकारात्मक ऊर्जा दूर होंगी।

(६) सुंदर कांड पढ़ने से गरीबी से छुटकारा मिल सकता है।

(७) सुंदर काण्ड पढ़ने से भूत-प्रेत और शत्रु से रक्षण मिलता है।

 

 

क्या में घर पर सुंदरकांड पढ़ सकता हूँ?

हाँ, आप घर के मंदिर में हनुमानजी के फोटो या मूर्ति के सामने आप संपूर्ण सुंदर काण्ड का पाठ पढ़ सकते है। आप सिर्फ घर पे ही नहीं, बल्कि आप ऑफिस या आपके नज़दीक हनुमानजी के मंदिर में भी आप यह पाठ पढ़ सकते है।

सुंदरकांड का पाठ कितने समय का होता है?

यह पाठ पढ़ने की स्थिति हर व्यक्ति के लिए अलग अलग होती है। अगर कोई व्यक्ति बिना अर्थ के यह पाठ पढ़ता है, तो वह २ से ३ घंटे यह पाठ पूर्ण रूप से पढ़ने में लगता है। अगर कोई व्यक्ति हर दोहा को अर्थ के साथ पढ़ता है, तो उन्हें ४ से ५ घंटे लग सकता है। सुंदरकांड का पाठ पढ़ने का समय हर व्यक्ति पर निर्भर करता है।

सुंदरकांड पढ़ने के नियम क्या हैं?

यह पाठ पढ़ने के लिए आपको स्वच्छ स्थान ग्रहण करना पड़ेगा। आपको मंदिर में हनुमानजी के फोटो या मूर्ति के सामने आपको यह पाठ करना होगा। आपको यह पाठ पढ़ने के लिए आसान लेना पड़ेगा। आपका मन में कोई नकारात्मक सोच नहीं आनी चाहिए। यह पाठ शुरू करने से पहले हनुमानजी का आशीर्वाद प्राप्त करें। यह पाठ ध्यान लगाकर पढ़े। अगर हो सके तो पाठ करते समय दूसरे कुछ काम के लिए खड़े न हो। पाठ को अधूरा मत रखिये। पाठ को पूरा मन लगा के पढ़ें। पाठ का समापन बाद हनुमानजी से प्रार्थना करे। हनुमानजी से आशीर्वाद प्राप्त करें।

क्या महिलाएं सुंदरकांड का पाठ पढ़ सकती है?

हाँ, महिलाएं सुंदरकांड का पाठ पढ़ सकती है। बजरंग बाण को छोड़कर महिलाएं सुन्दरकाण्ड, हनुमान अष्टक और हनुमान चालीसा लिरिक्स पढ़ सकती है।

सुंदरकांड कितने दिन तक पढ़ना चाहिए?

सुंदरकांड पढ़ने का कोई मुख्य नियम नहीं है। आप चाहे तो पूरे साल तक आप यह पाठ पढ़ सकते है। ऐसा माना जाता है की २१ दिन तक आप सुंदरकांड का पाठ प्रतिदिन पढ़ते है, तो आपको अपने कार्यों में मन चाही सफलता मिल सकती है। आप हर क्षेत्र में सिद्धि प्राप्त कर सकते है। आपको भय और संकटों से मुक्ति मिलती है।

सुंदरकांड और हनुमान चालीसा में क्या अंतर है?

हनुमान चालीसा और हनुमान सुन्दरकाण्ड पाठ एक नहीं हैं। सुंदरकांड यह रामायण पर आधारित है। जहाँ हनुमानजी की महिमा का गुणगान किया गया है, जैसे की लंका दहन और सीता माता से मिलना। इसमें हनुमान जी की अपार शक्ति का भी वर्णन किया गया है। हनुमान चालीसा भगवान हनुमान को समर्पित एक भक्ति भजन है, जिन्हें हिंदू धर्म में भगवान राम का दिव्य भक्त माना जाता है। हनुमान चालीसा में 40 छंद है और शक्ति, साहस और भक्ति के लिए भगवान हनुमान का आशीर्वाद पाने के लिए भक्तों द्वारा इसका पाठ किया जाता है। दुनिया भर में लाखों हिंदुओं द्वारा प्रतिदिन हनुमान चालीसा सुंदरकांड का पाठ किया जाता है। कई भक्त यह पाठ को प्रतिदिन सुनते भी है। वह हनुमान चालीसा पीडीऍफ़ अपने मोबाइल में डाउनलोड करके प्रतिदिन इसका पाठ करते है।

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